निर्वाचन आयोग -
निर्वाचन आयोग स्थाई एवं स्वतंत्र संगठन है जिसका गठन भारत के संविधान द्वारा देश में स्वतंत्र एवं निष्पक्ष चुनाव सम्पन कराने के लिए किया गया था अनुच्छेद 324 के अनुसार संसद,राज्य विधानमंडल,राष्ट्रपति एवं उपराष्ट्रपति आदि का निर्वाचन संपन्न कराने की जिम्मेदारी निर्वाचन आयोग की है जोकि अखिल भारतीय संस्था है क्यूंकि यह केंद्र एवं राज्य सरकार दोनों के लिए समान है।
संगठन संरचना-
निर्वाचन आयोग एक बहुसदस्यीय संगठन है जिसमे एक मुख्य निर्वाचन आयुक्त एवं दो अन्य निर्वाचन आयुक्त होते हैं यानि की कुल तीन जिनकी नियुक्ति राष्ट्रपति के द्वारा की जाती है और जब कोई अन्य निर्वाचन इस प्रकार नियुक्त किया जाता है उस समय मुख्य निर्वाचन आयुक्त अध्यक्ष के रूप में काम करता है।
राष्ट्रपति निर्वाचन आयोग की सलाह पर प्रादेशिक आयुक्तों की नियुक्ति कर सकता है और निर्वाचन आयुक्तों की सेवा शर्तों का निर्धारण रास्ट्रपति के द्वारा किया जाता है तीनों आयुक्तों के पास समान शक्तियां होती हैं और इनके वेतन भत्ते आदि एक समान होते हैं।
निर्वाचन आयुक्तों का कार्यकाल 6 वर्ष या 65 की उम्र तक का होता है जो भी पहले पूरा हो पर ये अपने पद से किसी भी समय त्यागपत्र दे सकते हैं।
शक्ति एवं कार्य -
निर्वाचन आयोग की बिभिन शक्तियां जो इस प्रकार हैं -;
(1) सारे भारत के निर्वाचन क्षेत्रों के भू भाग का निर्धारण करता है।
(2) समय समय पर निर्वाचक नामावली तैयार करना एवं सभी योग्य मतदाताओं को पंजीकृत करना।
(3) निर्वाचन की तिथि एवं समय सारणी का निर्धारण करना एवं नामांकन पात्र का परिक्षण करती है।
(4) राजनीतिक दलों को मान्यता प्रदान करना एवं चुनाव चिन्ह आवंटित करना।
(5) राजनीतिक दलों को मान्यता प्रदान करने एवं चुनाव चिन्ह देने के मामले में हुए विवाद का समाधान करना।
(6) निर्वाचन ब्यवस्था से सम्बंधित जांच के लिए अधिकारी नियुक्त करना एवं निर्वाचन के समय दलों एवं उम्मीदवारों के लिए आचार संहिता निर्मित करना।
(7) निर्वाचन के समय राजनीतिक दलों की नीतियों के प्रचार के लिए रेडिओ टीवी कार्यक्रम सूची निर्मित करना एवं संसद सदस्यों की अयोग्यता सम्बंधित मामलों पर राष्ट्रपति को सलाह देना और विधानपरिषद के सदस्यों की अयोग्यता सम्बंधित मामले पर राज़्यपाल को सलाह देना।
(8) मतदान केंद्र लूटने हिंसा एवं अन्य अनियमितताओं के आधार पर निर्वाचन रद्द करना एवं समस्त भारत में निष्पक्ष चुनाव कराने के लिए चुनावी तंत्र का पर्वेक्षण करना।
टिप्पणियां
टिप्पणी पोस्ट करें